जेनसन हुआंग (NVIDIA के मालिक) : कभी बर्तन साफ किया तो कभी टॉयलेट

NVIDIA के मालिक जेनसन हुआंग, माइक्रोसॉफ्ट को पछाड़कर दुनियाँ की सबसे मूल्यवान कम्पनी बन गई। इससे पहले 5 जून 2024 को एप्पल को पछाड़कर दुनियाँ के दूसरी सबसे मूल्यवान कम्पनी बनी थी।

लेकिन मालिक जेनसन हुआंग के हालात हमेशा से अच्छे नहीं थे वल्कि उन्होंने जिंदगी में कभी ऐसे हालात का भी सामना किया जब वह वह जीवका चलाने के लिए कपड़े साफ़ किया करते थें यहाँ तक की टॉयलेट तक साफ़ करने पड़े थे।

ब्लुएम्बर्ग के रिपोर्ट के अनुसार NVIDIA के शेयरों में तेजी से उछाल के बाद वह दुनियाँ के 12वें सबसे धनवान व्यक्ति भी बन गए। इनकी संपत्ति 119 अरब डॉलर तक हो चुकी है।

जेनसन हुआंग

वर्ष 1963 में जन्मे ताइबान में जन्मे जेनसन का बचपन बड़ा ही मुश्किलों भरा रहा था। आर्थिक मुश्किलों के बाबजूद भी उनके माता-पिता ने उनकी पढाई के लिए वर्ष 1973 में उन्हें अमेरिका भेज दिया। अमेरिका के ओरगन यूनिवर्सिटी से इलेक्ट्रॉनिक ब्रांच से B.Tech किया और फिर 1992 में स्टैंडफोर्ड यूनिवर्सिटी से मास्टर की डिग्री हासिल की।

अपने पढाई के खर्च के लिए उन्होंने अमेरिका में ही कभी वेटर की नौकरी, कपड़े साफ करने की नौकरी तो कभी टॉयलेट साफ़ करने आदि जैसे कई तरह की नौकरी किया।

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30 वर्ष की उम्र में ही उन्होंने NVIDIA की नीव रख दी थी, जेनसन के मुताबिक़ एक ऑफिस में काम करने के दौरान ही उन्होंने ने चिप बनाने के बारे में बहुत कुछ सिख लिया था। फिर अपने दोस्त क्रिस मैलाचोव्सकी और कर्टिस-प्रीम के साथ मिलकर वर्ष 1993 में NVIDIA की शुरुआत की। उन्होंने इस कंपनी की शुरुआत एक रेस्टोरेंट से किया था।

तीनो ने मिलकर सबसे पहले एक ग्राफिक्स प्रोसेसिंग यूनिट बनाई, शुरुआत में वह पूरी रात तक जाग कर काम करते रहते पर इतने मेहनत के बाबजूद भी एक समय ऐसा जब उनकी ये कंपनी दिवालिया होने की कागार पर पहुँच गई। पर कैसे भी करके उन्होंने इस कम्पनी को संभाला और आज इसे दुनियाँ की सबसे मूल्यवान कम्पनी बना कर खड़ा कर दी।

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